दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाले देश में बढ़ रही बेरोजगारी
युवाओं ने बताया कि पढ़ाई पूरी होने के बाद भी नौकरी नहीं मिल रही है। हजारों सीवी भेजने पर जवाब एक ही मिलता है। इसका दिमाग पर गंदा असर पड़ रहा है।
दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाले देश में लगातार युवा बेरोजगार हो रहे हैं। इससे लोगों में चिंता पैदा हो गई है। वहीं, युवाओं में अपने भविष्य को लेकर तनाव देखा गया है। इससे उनकी रातों की नींद उड़ गई है। इस बात का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि चीन में केवल जून में ही 16 से 24 वर्ष की आयु के 21.3 प्रतिशत लोग बेरोजगार हो गए हैं। यह आंकड़ा हर महीने रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच रहा है।
हाल ही में, मनोविज्ञान में स्नातक पूरा करने वालीं झांग ने अपने चुने हुए क्षेत्र में नौकरी पाने के लिए कई हजारों सीवी भेजे, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। 23 साल की झांग ने कई महीनों तक नौकरी तलाशी, लेकिन वह असफल रहीं। इसका उनपर बुरा असर पड़ा।
झांग ने इस सप्ताह के अंत में बीजिंग में एक भर्ती मेले में पत्रकारों को बताया कि पढ़ाई पूरी होने के बाद भी नौकरी नहीं मिली। उन्होंने कहा कि इसका दिमाग पर बहुत गंदा असर पड़ा है। उन्होंने कहा कि मैं कितने भी सीवी भेज दूं, मुझे उसका एक ही जवाब मिलता है।
बता दें, ऐसा नहीं है कि यह कहानी सिर्फ एक-दो युवा की है। ऐसे कई युवाओं ने इसी तरह की बात बताई। शमिवार को बीजिंग में भर्ती मेला आयोजित किया गया था, जिसमें उपस्थित लोगों ने चुनौतीपूर्ण हालातों के बारे में बताया।
मीडिया में अनुभव रखने वाले 21 वर्षीय बेरोजगार यांग याओ ने बताया कि नौकरी नहीं मिलने के कारण हर रात वह चिंता में रहते। वह सोचते हैं कि अगर नौकरी नहीं मिली तो जीवन-यापन कैसे करूंगा। याओ का कहना है कि वह इस चिंता की वजह से रात भर नहीं सो पाते हैं। अगर कहीं विकल्प दिया भी जाता है तो सैलरी काफी कम देने की बात करते हैं।
चीन ने हाल के महीनों में कई संकेतक जारी किए हैं, जो देश में कोविड के बाद मंदी की ओर इशारा कर jरहे हैं। कहा जा रहा है कि कम उपभोक्ता मांग के कारण कंपनियां लोगों को काम पर नहीं रख रही हैं।
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